place to visit in Mathura and Vrindavan | मथुरा में घुमने की जानकारी –

place to visit in Mathura Vrindavan | मथुरा में घुमने की जानकारी – ब्रज भूमि कहे जाने वाला भगवान श्री कृष्ण की जन्मभूमि एवं उत्तर प्रदेश की पवित्र स्थानों में शामिल मथुरा जो एक बहुत ही सुन्दर सा शहर है जहां दूर-दूर से लोग दर्शन के लिए आते है यहाँ विदेश से भी लोग आते है यह जगह भारत देश के पवित्र स्थानों में एक है मथुरा पर्यटक स्थल के साथ-साथ एक एतिहासिक जगह भी है मथुरा में घुमने वाले जगह आपको बहुत सारी मिलेंगी तो आइये हम बात करते है मथुरा के प्रसिद्ध जगहों के बारे में

place to visit in Mathura | मथुरा में घुमने की जानकारी -
माता वैष्णो देवी धाम मथुरा

Top Tourist Attractions in Mathura | tourist place in Mathura | uttar pradesh tourist places | uttar pradesh tourist place | Mathura Tourist Places In Hindi | पर्यटन स्थल मथुरा-

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place to visit in Mathura Vrindavan | मथुरा में घुमने की जानकारी – यहाँ श्री कृष्ण भगवान के बचपन की बहुत सारी कहानियां है और उनकी अद्भुत लीलाएं जानने को भी मिलती है मथुरा उत्तर प्रदेश में दिल्ली से लगभग 150 किलोमीटर और आगरा से लगभग 57 किलोमीटर की दुरी पर स्थित है आगरा से मात्र आपको 1 घंटे लगते है मथुरा पहुँचने में वैसे तो ज्यादातर आपको यहाँ छोटा-छोटा गाँव देखने को मिलता है लेकिन जब आप यहाँ जायेंगे तो आप बड़ी-बड़ी शहर की इमारतों (Building) को भी भूल जायेंगे क्युकी यह गाँव बहुत ही ज्यादा खुबसूरत है और यहाँ कृष्ण भगवान की बचपन की यादें भी है मुझे तो यह गाँव बहुत ही ज्यादा पसंद आया यहाँ आपको पतली-पतली गलियाँ भी मिलेंगी जहां भगवान श्री कृष्ण खेला करते थे एक शब्दों में कहा जाए तो मथुरा की सारी जगह एतिहासिक ही है

वृन्दावन धाम मथुरा Vrindavan Dham In Mathura
द्वारिकाधीश मंदिर मथुराDwarkadhish Temple In Mathura
गोवर्धन पर्वत मथुरा Govardhan Parvat In Mathura
बांके बिहारी मंदिर मथुरा Banke Bihari Temple In Mathura
कंस किला Kansh Fort In Mathura
निधिवन Nidhivan
माता वैष्णो देवी धाम मथुरा Mata Vaishno Devi Dham Vrindavan Mathura
प्रेम मंदिरPrem Temple
राधा कुंडRadha Kund
रंगजी मंदिर मथुरा ( रंगनाथ जी मंदिर मथुरा )Sri Rangji Temple In Mathura
बरसाना श्री राधा रानी मंदिर मथुराBarsana Shri Radha Rani Temple Mathura
गोकुल मथुरा Gokul Dham In mathura
स्कान मंदिर मथुरा Iskcon Temple In Mathura
मथुरा में घुमने वाले जगह

वृन्दावन धाम मथुरा | Vrindavan Dham In Mathura

place to visit in Mathura Vrindavan | मथुरा में घुमने की जानकारी – मथुरा रेलवे स्टेशन से लगभग 15 किलोमीटर की दुरी पर स्थित वृन्दावन मथुरा का एक मुख्य स्थान भी माना जाता है क्युकी वृन्दावन में भगवान श्री कृष्ण और राधा रानी जी का बहुत सारा मंदिर स्थित है मथुरा के ब्रज यात्रा में आप वृन्दावन की खूबसूरती देख कर बिलकुल प्रसन्न हो उठेंगे क्युकी यहाँ आपको वृन्दावन का सबसे प्रसिद्ध प्रेम मंदिर भी देखने को मिलेगा जिसे देखने के लिए विदेश से भी लोग आते है वृन्दावन एक तरफ से मथुरा का मध्य केंद्र माना जाता है जहाँ से आप मथुरा के जगह जगह को घूम सकते है

वृन्दावन धाम से आपको कही भी आने जाने की कोई समस्या नहीं होगी क्यूकी यहाँ आपको ठहरने के लिए छोटे-बड़े सभी होटल मौजूद होंगे और घुमने के लिए गाड़ियां भी आसानी से मिल जाती है और यहाँ बहुत ही खुबसूरत जगह भी हैं देखने के लिए तथा यहाँ अच्छे-अच्छे रेस्तरा भी मौजूद मिलेंगे आपको जहां आप कम पैसो में ही अच्छे और स्वादिष्ट भोजन कर सकते है

द्वारिकाधीश मंदिर मथुरा | Dwarkadhish Temple In Mathura –

place to visit in Mathura Vrindavan | मथुरा में घुमने की जानकारी – मथुरा रेलवे स्टेशन से लगभग 5 किलोमीटर की दुरी पर विश्राम घाट के समीप राजाधिराज बाज़ार में स्थित द्वारिकाधीश मंदिर जिसका निर्माण सन 1814 ई. में सेठ गोकुल दास पारीख जी के द्वारा हुआ था इस पवित्र मंदिर में भगवान श्री कृष्ण जी की बहुत सी कलाकृतियाँ मौजूद है जिन्हें आप देख सकते है और उनके लीलाओं के बारे में जानकारी ले सकते है की बचपन में श्री कृष्ण जी ने कैसी कैसी लीलाएं रची है अगर आप कभी मथुरा घुमने के लिए जाते है तो द्वारिकाधीश मंदिर जाना बिलकुल ना भूले

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Dwarkadhish Temple Mathura

द्वारिकाधीश मंदिर में घुमने का सबसे अच्छा समय श्री कृष्णजन्माष्टमी , होली तथा श्रावण के महीने के समय होता है क्युकी उस समय आप मथुरा घुमने का असली आनंद ले सकते है लेकिन यहाँ बहुत ज्यादा भीड़ भी होता है क्युकी उस समय बहुत सारे श्रद्धालु यहाँ दर्शन के लिए आते है

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Dwarkadhish Temple In Mathura

द्वारिकाधीश मंदिर में आरती और कार्यक्रम के समय की जानकारी,click here

गोवर्धन पर्वत मथुरा | Govardhan Parvat In Mathura

गिरिराज कहे जाने वाला गोवर्धन पर्वत मथुरा से लगभग 22 किलोमीटर की दुरी पर स्थित है यह जगह मथुरा का एक मुख्य स्थान भी माना जाता है क्युकी यह मथुरा का सबसे ज्यादा घुमने वाला स्थान भी है यह पर्वत एक एतिहासिक जगह भी माना जाता है जब आप गोवर्धन पर्वत को देखेंगे तो बहुत ही ज्यादा आश्चर्यचकित हो जायेंगे क्युकी कई सौ साल पहले यह गाँव बाढ़ से डूब रहा था तब भगवान श्री कृष्ण ने इसी पर्वत को अपने एक ऊँगली पर उठा पुरे गाँव वालो को बचाया था और तभी से इस पवित्र पर्वत की पूजा की जाती है

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Govardhan Parvat In Mathura

यह पर्वत 23 किलोमीटर में फैला हुआ है लोग इसकी परिक्रमा करते है ऐसा माना जाता है की जो भी व्यक्ति इस पर्वत की परिक्रमा को पूर्ण करता है उसकी सारी मनोकामना पूर्ण होती है बहुत से लोग इस पर्वत की परिक्रमाअपने वाहन के माध्यम से भी करते है क्युकी 23 किलोमीटर तक पैदल चलना हर किसी की बात नहीं होती अगर आप कभी भी मथुरा घुमने के जाते है तो गोवर्धन पर्वत घूमना बिलकुल न भूले दानघाटी नामक एक प्रसिद्ध मंदिर से आपकी परिक्रमा की शुरुवात होती है और बिच-बिच में आपको अनेक प्रकार के धार्मिक स्थल भी देखने को मिलेंगे जहां आप दर्शन भी कर सकते है

बांके बिहारी मंदिर मथुरा | Banke Bihari Temple In Mathura

वृन्दावन रमण रेती में स्थित श्री बांके बिहारी जी का मंदिर मथुरा का सबसे प्रिय और सबसे खास माना जाता है इस मंदिर का निर्माण सन 1864 इ. में स्वामी हरिदास जी ने करवाया था बांके बिहारी जी कृष्ण भगवान जी का एक रूप है इस मंदिर की बहुत सारी कहानियाँ है जो की निम्न प्रकार की है

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Banke Bihari Temple In Mathura

कहा जाता है की एक बार बूढी औरत बांके बिहारी जी के मंदिर में दर्शन के आई उस बूढी औरत का कोई भी संतान नहीं था और उसने बांके बिहारी जी के मंदिर में उनकी प्रतिमा को निहारती रही और फिर जब थोड़ी देर बाद से अपने घर के लिए जाने लगी तो उनके पास एक छोटा सा बालक आया और उस बूढी औरत का हाथ पकड़ लिया और उसके साथ जाने की जिद करने लगा तब उस बूढी औरत ने उस नन्हे बालक को अपने साथ अपने घर लेकर गई कुछ समय बाद जब पुजारी मंदिर में गये थे उन्होंने देखा की मंदिर की मूर्ति गायब है धीरे धीरे यह बात चारो तरफ फ़ैल गई की मंदिर से मूर्ति गायब है

जब यह बात बूढी औरत के कानो तक पहुंची तो वह समझ गई की जो बालक मेरे साथ मेरे घर आया है वो कोई और नहीं बल्कि श्री कृष्ण भगवान खुद बालक के रूप में है उस समय उस बूढी औरत के आँखों से खुसी के आंसू बहने लगे लेकिन पुजारी और वहां के लोगो को परेशान देख कर उस बूढी औरत ने यह बात पुजारी को बताई की भगवान जी स्वयं मेरे घर में है एक बालक के रूप तब वहां पुजारी और कुछ लोग जाकर भगवान को मनाते है और उनको वापस मंदिर में आने के लिए बोलते है तब जाकर भगवान श्री कृष्ण मंदिर में अपने स्थान पर आकर विराजमान होते है

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Banke Bihari Temple Mathura

कहा जाता है की उसी समय से किसी भी व्यक्ति को ज्यादा समय तक भगवान कृष्ण की प्रतिमा को देखने की अनुमति नहीं है इसीलिए वहां एक पर्दा लगा दिया गया है जिससे भगवान की प्रतिमा को ज्यादा देर तक कोई न देख पायें और उस परदे को हर मिनट में हटाया जाता है और फिर थोड़ी देर में ही ढक दिया जाता है और मैंने ऐसा भी सुना है की भगवान श्री कृष्ण जी के पैरो को जंजीर से बाँधा गया है क्युकी भगवान फिर किसी भक्त के साथ वहाँ से न चले जाएँ अगर आप कभी भी मथुरा बांके जी के मंदिर में जाते है तो ये जरुर ध्यान दीजियेगा की कोई भी व्यक्ति आपसे मदद मांगे तो आप उनकी मदद जरुर करें क्युकी हो सकता है की उस व्यक्ति के रूप में स्वयं भगवान आपके पास आयें हो

कंस किला मथुरा की जानकारी | Kansh Fort In Mathura

यमुना नदी के तट पर बसा कंश का किला मथुरा का मुख्य पर्यटक स्थलों में शामिल है क्युकी यह किला भगवान श्री कृष्ण जी के मामा का किला था जहां कंश ने कृष्ण भगवान जी के माता-पिता जी को जेल में कैद कर के रखा था और उन आठ जेलों में से ध्वस्त हो चुके है लेकिन आठवे जेल में जिस पत्थर पर श्री कृष्ण जी का जन्म हुआ था वो पत्थर आज भी उस मंदिर में मौजूद है

आप जाकर दर्शन भी कर सकते है उस मंदिर के सटे ही आपको एक मस्जिद भी दिखेगा जिसके बारे में कहा जाता है की वह कंश का किला ही था लेकिन बाद में अकबर ने अपने राज में उसपर कब्ज़ा कर लिया और उसे तोड़ कर मस्जिद का निर्माण कराया लेकिन वह जगह आज के समय में एक हिन्दू-मुस्लिम के भाईचारे के सामान मानी जाती है किला के खुलने का प्रातः 07:00 बजे से सायं 05:00 बजे तक का है आप इस समय के बिच में कभी भी उस किले का दर्शन कर सकते है

निधिवन मथुरा की जानकारी | Nidhivan Mathura –

मथुरा के वृन्दावन में स्थित निधिवन एक रहस्मयी जगह भी है जिसे आज तक कोई भी बड़े से बड़ा वैज्ञानिक भी नहीं सुलझा पाया है ऐसा माना जाता की निधिवन में आज भी भगवान श्री कृष्ण आते है निधिवन में रहस्मयी बाते बहुत सी है रात के समय में निधिवन के अन्दर किसी को भी प्रवेश नहीं दिया जाता है यहाँ तक की मंदिर के पुजारियों को भी नहीं

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Nidhivan Mathura

आइये जानते निधिवन में होने वाले चमत्कार के बारे में

  • निधिवन के अन्दर ही भगवान श्री कृष्ण और राधा रानी जी का मुख्य मंदिर स्थित है जिसमे रात होने से पहले जो मंदिर के पुजारी होते है वो एक थाली में पान , दातुन , सिंदूर ,रोड़ी , चन्दन , वस्त्र आदि सामान उसी मंदिर के अन्दर रख कर मंदिर का मुख्य कपाट को बंद कर देते है और उसमे ताला लगा देते है और फिर निधिवन का भी मुख्य द्वार को बंद कर दिया जाता है और उसमे भी ताला लगा दिया जाता है फिर उस कपाट को सुबह के समय में 4 से 5 के बिच सबके सामने खोला जाता है और उस समय आपको जो चमत्कार देखने को मिलता है उसे आप कभी नहीं भूल पाएंगे
  • उस समय हम यह देखते है की रात का रखा हुआ सारा सामान (जो थाली में रखा गया गया होता है) वो सारा का सारा बिखरा पड़ा हुआ दिखाई देता है और जो दातुन और पान होता है वो चबाये हुए होते है तथा वस्त्र और बिस्तर भी इधर उधर बिखरा हुआ रहता है जिसे देख कर हर कोई हैरान रह जाता है सच बताऊ तो मुझे खुद नहीं यकीन हो रहा था लेकिन अब ऊपर वाले के चमत्कार को कोई कैसे रोक सकता है
  • आपने अपनी पुरे जीवन में अभी तक तुलसी जी का पौधा देखा होगा लेकिन अगर आप निधिवन में जाते है तो आपको वहां तुलसी का पेड़ देखने को मिलता है जो निचे जमीन की तरफ बढ़ता है शायद ही आपको इस दुनिया में ऐसा पेड़ देखने को मिले
  • कहा जाता है की वही तुलसी का सारा पेड़ रात के समय में गोपियों का रूप धारण करती है नृत्य करती है तथा भगवान कृष्ण जी भी वहां आते है और रास रचाते है
  • ऐसा माना जाता है की अगर रात के समय में निधिवन के अन्दर चोरी छिपे जाने की भी कोई कोशिश करता है तो वो अँधा हो जाता है या पागल हो जाता है क्युकी भुत से लोगो के साथ ऐसी घटना घटी है

लेकिन हा दोस्तों अगर आप वहां जाए है बंदरो से बहुत सावधान रहे क्युकी वहां के बंदर बहुत ही ज्यादा शरारती होते है और खास कर अपने सामान जैसे हैण्ड बैग , पर्स , मोबाइल , आदि बचा कर रखे क्युकी जब मई गया था एक बंदर मेरा सामान छीन कर भग गया और सामान बर्बाद कर दिया 😁😀 क्युकी उस समय मुझे भी नहीं पता था इसीलिए दोस्तों मई आप लोगो को सावधान कर रहा हूँ और मै आप लोगो से यही गुजारिश करूंगा आप सब एक बार निधिवन में जरुर जाएँ और इस चमत्कार को देखने

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Nidhivan in Mathura Rang Mahal

प्रेम मंदिर मथुरा की जानकारी | Prem Temple In Mathura

54 एकड़ में बना यह मंदिर मथुरा के वृन्दावन में स्थित है जो श्री कृष्ण और राधा रानी जी तथा सीता जी और श्री राम जी को समर्पित है इस मंदिर के बगल में ही एक सत्संग हाल भी बनाया गया है जो बहुत ही बड़ा लगभग है जिसमे लगभग 25,000 लोग आराम से एक साथ आ जायेंगे इसमें आप कृष्ण भगवान की कलाकृतियाँ और गोवर्धन पर्वत का दृश्य भी देख सकते है यह मंदिर लगभग 125 करोड़ रू की लागत से तैयार किया गया है जिसे देखने के लिए देश-विदेश से लोग आते है और प्रेम मंदिर के खूबसूरती का लुफ्त उठाते है इस मंदिर का निर्माण श्री जगद्गुरु कृपालु महाराज जी ने कराया था अगर आपको प्रेम मंदिर का सबसे अलग नज़ारा देखना है तो रात के समय में देखिये जो बेहद ही आकर्षक लगता है

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Prem Temple Mathura
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Prem Temple In Mathura In Night Time

राधा कुंड मथुरा | Radha Kund In Mathura-

मथुरा से लगभग 26 किलोमीटर की दुरी पर स्थित राधा कुंड एक बहुत ही चमत्कारी जगह भी है क्युकी ऐसा माना जाता है की अगर कोई दम्पति को पुत्र/पुत्री की प्राप्ति नहीं हो पति है और वो दम्पति अगर विशेष दिन राधा कुंड में स्नान करे तो उन्हें पुत्र प्राप्ति होती है भगवान श्री कृष्ण ने राधा रानी जो को यह वरदान स्वयं दिया है

Prem Temple In Mathura In Night Time
Radha Kund Mathura

गोवर्धन पर्वत की परिक्रमा करते समय बिच में आपको राधा कुंड दिखाई पड़ता है जहां आप जाकर स्नान कर सकते है तथा राधा कुंड में स्नान करने का सबसे शुभ दिन कार्तिक मास की अष्टमी के दिन होता है और रात के 12 बजे का समय सबसे शुभ माना जाता है जिसे कई लोग अहोई अष्टमी भी कहते है कार्तिक मास की अष्टमी को यहाँ हजारो की संख्या में श्रद्धालु स्नान करते है और पुत्र रत्न की प्राप्ति की कामना करते है यही नहीं बल्कि इस जगह पर विदेश से भी बहुत सारे पर्यटक स्नान करने के लिए आते है

Prem Temple In Mathura In Night Time
राधा कुंड मथुरा

रंगजी मंदिर मथुरा ( रंगनाथ जी मंदिर मथुरा ) | Sri Rangji Temple In Mathura

सन 1851 इ. में बना यह मंदिर मथुरा के वृन्दावन में स्थित है जिसके अन्दर एक 50 फिट ऊँचा एक द्वाजस्तम्भ है जो बहुत ही आकर्षक लगता है जिसकी वजह से मंदिर की शोभा भी बढ़ जाती है इस मंदिर में मुख्य प्रतिमा रंगनाथ जी (रंगजी) का है तथा रंगजी मंदिर में भगवान विष्णु जी के साकार रूप में विराजमान है रंगनाथ जी मंदिर का मुख्य दिवार बहुत ही भव्य और आधुनिक है जिसकी लम्बाई लगभग 773 फिट और चौड़ाई करीबन 440 फिट है इस मंदिर के संस्थपक सेठ गोविन्ददास तथा राधा कृष्णदास जी है यह मंदिर मथुरा के मुख्य मंदिर में भी शामिल है

Prem Temple In Mathura In Night Time
Sri Rangji Temple In Mathura

बरसाना श्री राधा रानी मंदिर मथुरा | Barsana Shri Radha Rani Temple Mathura

राधा रानी जी का जन्मस्थान बरसना ही है जहां राधा रानी जी का जन्म हुआ है और इसी जगह वो पली-बढ़ी थी उनका सारा बचपन बरसाना में ही व्यतीत हुआ था आज भी राधा रानी जी का घर आपको देखने को मिलेगा बरसाना गाँव में जो एक पहाड़ के सबसे ऊपर स्थित है उनके महल को इस समय मंदिर में परिवर्तित कर दिया गया है लेकिन जब आप वहां जाते है आप राधा रानी जी का आंगन भी देख सकते है जहां वो बचपन में खेलती थी यह जगह मथुरा का सबसे प्रिय माना जाता है क्युकी राधा जी कृष्ण भगवान के लिए सबसे ज्यादा प्रिय थी मथुरा के बरसाना में सबसे ज्यादा प्रसिद्ध त्यौहार कृष्ण जन्माष्टमी और लठ मार होली का होता है जहां हजारो की संख्या में लोग आते है और त्यौहार का आनंद लेते है

Prem Temple In Mathura In Night Time
Barsana Shri Radha Rani Temple

गोकुल मथुरा | Gokul Dham In Mathura –

गोकुल धाम मथुरा से लगभग 15 किलोमीटर की दुरी पर स्थित है जहां भगवान श्री कृष्ण जी का बचपन बिता था यह कृष्ण जी का गाँव था कान्हा जी ने यहाँ 11 वर्ष 1 महिना और पुरे 22 दिन अपना समय व्यतीत किया था यहाँ आप कृष्ण जी का घर भी सकते है जो लगभग 5000 साल पुराना है यह गाँव बहुत ही ज्यादा खुबसूरत एवं भुत ही शांत है यहाँ आज भी आपको पुराने से पुराने सामान देखने को मिलेंगे जब कृष्ण जी का जन्म कंश के महल में हुआ था तो वासुदेव जी ने भगवान को यही गोकुल में नंदलाल के घर छोड़ कर चले जाते है और गोकुल में ही इनका बचपन गुजरता है जब आप गोकुल में प्रवेश करेंगे तो आपको एक पेड़ दिखाई देगा जहां नटखट बाल गोपाल बासुरीं बजाया करते थे

Prem Temple In Mathura In Night Time
gokul dham Mathura

स्कान मंदिर मथुरा | Iskcon Temple In Mathura

सन 1975 इ. में बना यह मंदिर का निर्माण ए सी भक्तिवेदांत स्वामी प्रभुपाद ( इस्कान के संस्थपक) ने स्वयं कराया है इस्कान मंदिर वृन्दावन के रमन रेटी में स्थित है इस मंदिर को श्रीकृष्ण बलराम मंदिर के नाम से जाना जाता है ISKCON का मतलब (International Society for Krishna Consciousness) (कृष्ण चेतना के लिए अंतर्राष्ट्रीय सोसायटी) होता है इस मंदिर का निर्माण सफ़ेद संगमरमर से किया गया है जो देखने में भुत ही ज्यादा आकर्षक और खुबसूरत लगता है इस मंदिर में ज्यादातर विदेशी पर्यटक आते है और भगवान श्री कृष्ण जी के भक्ति में लीन हो जाते है यहाँ हर शाम में भजन कीर्तन आयोजन होता है जहां लोग भजन में लीन होकर नृत्य भी करते है जो देखने में बहुत ही ज्यादा मनमोहक लगता है और मन बहुत प्रसन्न हो जाता है

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